गाज़ीपुर ।
जनपद के बीएसपी से सांसद रहे अफजाल अंसारी को सुप्रीम कोर्ट से राहत की खबर मिली है गैंगस्टर मामले में गाजीपुर की कोर्ट से सजा पाए अफजल अंसारी को हाईकोर्ट ने जमानत तो दे दी थी लेकिन सजा पर रोक नहीं लगाया था इसके खिलाफ अफजाल अंसारी सुप्रीम कोर्ट में अपील दायर किए थे जिसमें पिछले दिनों अफजाल अंसारी को राहत भरी खबर सुप्रीम कोर्ट के फैसले से मिली है ।
इस मामले में अफजाल अंसारी गाजीपुर में नहीं मिले लेकिन उनके आवास फाटक पर उनके बड़े भाई और पूर्व विधायक शिवकतउल्लाह अंसारी ने मीडिया से बात करते हुए सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले को न्याय की जीत बताया और खुशी जाहिर की उन्होंने बताया की सुप्रीम कोर्ट ने उनकी सांसदी बहाल की है और जितना मीडिया से खबरें मिल रही हैं यह चुनाव भी लड़ सकेंगे उन्होंने कहा है कि अब जो भी सांसद निधि से विकास परियोजनाएं लंबित थी उसे हम जल्द पूरा करेंगे हालांकि शिवकतउल्लाह अंसारी ने यह माना कि समय बहुत ही कम बचा है लेकिन बावजूद उसके हम अधिकारियों से सहयोग लेकर परियोजनाओं को पूरा करने की कोशिश करेंगे ।
एक सवाल के जवाब में उन्होंने कहा की यूं तो अफजाल अंसारी बहुजन समाज पार्टी से सांसद है और आगे भी 2024 के लोकसभा चुनाव में अगर पार्टी मौका देगी तो वह अपनी किस्मत आजमाएंगे , वही एक सवाल के जवाब में उन्होंने कहा कि अफजल अंसारी बसपा से लड़ेंगे या किसी अन्य दल से लड़ेंगे यह इंडिया गठबंधन की स्थिति स्पष्ट होने के बाद जिनके हिस्से में जो सीट आएगी वहां से प्रत्याशी तय किया जाएगा ।
वहीं उन्होंने क्षेत्र में विकास परियोजनाओं के बारे में चिंता व्यक्त की और उन्होंने कहा की मोहम्मदाबाद विधानसभा में काटन एक बड़ी समस्या है बच्चों के लिए कोई रोजगार रोजगार पर शिक्षा की व्यवस्था नहीं है ट्रामा सेंटर बनकर खड़ा है लेकिन उसमें चिकित्सक नहीं है और पातालगंगा जो सब्जी मंडी थी उसे सरकार ने खत्म कर दिया है लोग अपने खेतों में पैदावार बेच रहे हैं और सिंचाई की काफी दिक्कतें क्षेत्र वासियों को झेलनी पड़ रही है ।
एक सवाल के जवाब में उन्होंने मुख्तार अंसारी की सुरक्षा व्यवस्था पर भी जवाब दिया और उन्होंने कहा कि मुख्तार के छोटे बेटे ने सुप्रीम कोर्ट से गुहार लगाई है उसमें सुप्रीम कोर्ट ने रिट में संशोधन करके याचिका दाखिल करने की बात कही है जिसमें हमारी मांग है कि उनकी सुरक्षा व्यवस्था और उनकी सलामती के लिए मुकम्मल व्यवस्था की जाए या उन्हें उत्तर प्रदेश से बाहर किसी ऐसी जगह भेजा जाए जहां पर उनको सुरक्षा मिल सके ।